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उत्तराखंड के ऊधमसिंह नगर जिले में किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। गुरुवार को कृषि बिल के विरोध में किसानों ने दिनेशपुर से विशाल ट्रैक्टर रैली निकाली। रैली से पहले किसानों ने शहर में केंद्र और राज्य सरकार के पुतलों के साथ जुलूस निकाला। बाद में मुख्य चौराहे पर पुतला दहन किया गया। टैक्टर रैली गुरुद्वारा परिसर से निकाली गई। रैली को क्षेत्र के वयोवृद्ध किसान जोगिंदर सिंह ने झंडी दिखाकर रवाना किया। इसके बाद किसान ट्रैक्टरों से रैली के साथ गूलरभोज की ओर रवाना हो गए। वहीं, गूलरभोज में शिक्षा मंत्री के आवास के पास किसानों ने धरना दिया। किसानों ने कृषि मंत्री के खिलाफ नारेबाजी की और तीनों कृषि कानून वापस लेने की मांग की। इसके बाद अब सैकड़ों की संख्या में किसान गाजीपुर बॉर्डर के लिए रवाना होंगे। किसानों का कहना है कि 18 जनवरी को महिला किसान दिवस के रूप में मनाया जाएगा। 23 जनवरी को सुभाष जयंती पर सभी प्रदेशों में राजभवनों का घेराव किया जाएगा।
बुधवार को लोहड़ी पर्व पर तराई किसान संगठन के बैनर तले रुद्रपुर में किसानों ने तीनों कृषि कानूनों की प्रतियां जलाकर आक्रोश प्रकट किया था। उन्होंने केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए बाजार क्षेत्र में जुलूस निकाला था। किसानों को कांग्रेस और श्रमिक संयुक्त मोर्चा ने अपना समर्थन दिया। गल्ला मंडी से गांधी पार्क के पास तक निकले किसानों के जुलूस में तराई किसान संगठन के झंडों के साथ ही तिरंगा और काले झंडे भी नजर आए थे। जुलूस में शामिल किसानों ने केंद्र सरकार के साथ ही शिक्षा मंत्री अरविंद पांडेय के खिलाफ भी नारेबाजी की।
किसानों की बैठक में 26 जनवरी को दिल्ली में होने वाली ट्रैक्टर किसान परेड में शामिल होने के लिए बाजपुर क्षेत्र से एक हजार ट्रैक्टर ले जाने का लक्ष्य रखा गया। इस दौरान किसानों ने 23 जनवरी को विशाल ट्रैक्टरों का जत्था लेने की रणनीति बनाई। इससे पहले किसान शहीद भगत सिंह चौक से गुरुद्वारा साहिब तक जुलूस के रूप में पहुंचे। बुधवार को गुरुद्वारा साहिब में आयोजित बैठक में किसानों ने 23 जनवरी को क्षेत्र से अधिक से अधिक ट्रैक्टर दिल्ली गाजीपुर बार्डर पर ले जाने की रणनीति बनाई। इसके लिए गांव गांव जाकर संपर्क अभियान चलाया जाएगा। किसानों ने कहा कि कृषि कानूनों को खारिज कराना ही अब मुख्य उद्देश्य है।